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तिरुपति के बाद अब मथुरा-वृंदावन में मिलने वाले प्रसाद पर उठे सवाल, जांच के लिए भेजे गए सैंपल

लखनऊ के प्राचीन मनकामेश्वर मंदिर ने बाजार के प्रसाद के चढ़ावे पर रोक लगायी

संवाददाता
लखनऊ, नवसताः तिरुपति मंदिर के लड्डू प्रसादम विवाद के बाद अब मथुरा-वृंदावन में मिलने वाले प्रसाद की क्वालिटी भी सवालों के घेरे में है। मैनपुरी से सपा सांसद डिंपल यादव ने वृंदावन में मिलने वाले प्रसाद में इस्तेमाल किए जाने वाले खोये की क्वालिटी पर सवाल उठाया है। डिंपल यादव ने आगे कहा कि संबंधित विभाग को इस पर कार्रवाई करनी चाहिए। उधर राजधानी लखनऊ के प्राचीन मनकामेश्वर मंदिर ने बाजार के प्रसाद के चढ़ावे पर रोक लगा दी है।
तिरुपति मंदिर के लड्डू प्रसादम मंे गाय,सुअर व मछली की चर्बी की मिलावट की खबरों ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। इस मामले में अब समाजवादी पार्टी सांसद डिंपल यादव का एक बयान आया है। जिसमें उन्होंने कहा कि आम आदमी के खाने में हो रही मिलावट का कोई संज्ञान नहीं लिया जा रहा है। इस संवेदनशील मामले की जांच होनी चाहिए। डिंपल यादव ने कहा कि हमने वृंदावन में भी ऐसी ही घटना के बारे में सुना है। उन्होंने कहा मिलावटी अनाज, मिलावटी तेल और घी के रूप में मिलावटी खाद्य पदार्थ समाज के हर वर्ग तक पहुंच चुके हैं।


इस बीच मथुरा में भी खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग (एफएसडीए) सक्रिय हो गया और पिछले 48 घंटों में अलग-अलग जगहों पर से प्रसाद के रूप में बिक रहे पदार्थों के कुल 13 नमूने एकत्र कर प्रयोगशाला भेजे गए हैं। अधिकारियों ने रविवार को यह जानकारी दी। अधिकारियों ने बताया कि श्रीकृष्ण जन्मभूमि, वृन्दावन के बांकेबिहारी मंदिर एवं गोवर्धन के दानघाटी मंदिर के बाहर स्थित दुकानों पर से ये नमूने लिये गये हैं।
खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन के सहायक आयुक्त धीरेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि प्रसाद में मिलावट का मामला सामने आने के बाद टीम ने ठाकुर बांके बिहारी मंदिर, श्रीकृष्ण जन्मभूमि और गोवर्द्धन मंदिर के बाहर प्रसाद की दुकानों से नमूने लिये और उन्हें जांच के लिए प्रयोगशाला भेजा। उन्होंने बताया कि प्रयोगशाला की रिपोर्ट आने के बाद साफ हो पाएगा कि यहां बेचे जा रहे प्रसाद के रूप में भोग लगाए जाने वाले पदार्थों में किसी प्रकार की कोई मिलावट है या नहीं। सिंह ने बताया कि आज भी पूरे जिले में वृहद स्तर पर प्रसाद की जांच के लिए अभियान चलाया जाएगा। हर क्षेत्र में अलग-अलग टीमें जाकर नमूने लेकर कार्रवाई करेंगी। जहां भी प्रसाद की बिक्री खुले रूप में करते पाया जाएगा, वहां नमूने भरने का अभियान विशेष रूप से चलाया जाएगा।

तिरुपति बालाजी मंदिर के प्रसाद में मिलावट के बाद उपजे विवाद का असर पूरे देश में देखने को मिल रहा है। वहीं, अब इस घटना को ध्यान में रखते हुए राजधानी लखनऊ में स्थित प्रसिद्ध मनकामेश्वर मंदिर भी बाजार से खरीदे गए प्रसाद को लाने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।
मनकामेश्वर मंदिर की महंत दिव्यागिरी ने बाजार से लाये प्रसाद पर बैन लगा दिया है। महंत दिव्यागिरी ने लेटर जारी कर भक्तों से कहा है कि वो घर से बना प्रसाद या सूखे मेवे गर्भगृह पर चढ़ाये।

मनकामेश्वर मन्दिर, लखनऊ की पीठाधीश्वर महंत देव्यागिरि ने इस बारे में नोटिस जारी किया है। जारी किए गए नोटिस में लिखा गया है- विशेष सूचना, मन्दिर में भोग हेतु अपने द्वारा बनाया गया प्रसाद,सूखे मेवे ही गर्भगृह में चढ़ाएं। बाजार से लाए गये प्रसाद तिरुपति बालाजी आन्ध्र की घटना के कारण प्रतिबन्धित किया जा रहा है।

 

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