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अब अलीगढ़ का नाम होगा हरिगढ़, देवबंद में बनेगा एटीएस कमांडो सेंटर

अलीगढ़,नवसत्ता : उत्तर प्रदेश में इलाहाबाद तथा अयोध्या का नाम बदले जाने के बाद अब मैनपुरी, अलीगढ़ तथा फिरोजाबाद का भी नाम बदलने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। अलीगढ़ का नाम हरिगढ़ रखने की मांग लंबे समय से की जा रही है। इसी बीच योगी सरकार देवबंद में एटीएस कमांडो सेंटर बनाने का फैसला लिया है। इसके लिए सरकार की तरफ से 2 हजार वर्ग मीटर जमीन अलॉट की गई है। सरकार ने ये फैसला वर्तमान परिस्थितियों और चुनौतियों को देखते हुए लिया है।

बता दें कि जिला पंचायत बोर्ड की बैठक में नवनिर्वाचित अध्यक्ष विजय सिंह की अध्यक्षता में विकास भवन सभागार परिसर में सभी सदस्यों की मौजूदगी में अलीगढ़ का नाम बदलकर हरिगढ़ करने का प्रस्ताव पास किया गया है। इसकी रिपोर्ट शासन को भी भेजी गई है। गोविंद वल्लभ पंत सभागार प्रांगण में हुई बैठक में अलीगढ़ के विधायकगण और ब्लॉक प्रमुख भी मौजूद रहे। इस दौरान जिला पंचायत अध्यक्ष विजय सिंह ने सभी जनप्रतिनिधियों से उनके सुझाव मांगे तो सभी ने अपनी सहमति दर्ज कराने के साथ हर संभव सहयोग का वादा किया है। इसके बाद अलीगढ़ का नाम बदलने का प्रस्ताव शासन को भेज दिया है। बता दें कि जिला पंचायत सदस्य केहरी सिंह और उमेश यादव ने अलीगढ़ का नाम बदलकर हरिगढ़ करने का प्रस्ताव पेश किया था।

यही नहीं, मैनपुरी जिला पंचायत ने भी जिले का नाम बदलकर मयन नगर रखने का प्रस्ताव पास किया है। मैनपुरी में जिला पंचायत की बैठक अध्यक्ष अर्चना भदौरिया की अध्यक्षता में कलक्ट्रेट सभागार में हुई। सदस्य योगेंद्र प्रताप ने मैनपुरी का नाम मयन नगरी रखे जाने का प्रस्ताव पेश किया। इसे चर्चा के बाद स्वीकार कर लिया गया। अर्चना भदौरिया ने बताया कि अब इसे शासन को भेजा जाएगा।

वहीं इससे पहले फिरोजाबाद जिला पंचायत ने जिले का नाम चंद्र नगर रखने का प्रस्ताव पारित किया था। बता दें कि अलीगढ़ का नाम बदलने की कवायद कल्याण सिंह ने 1992 में शुरू की थी। लेकिन तब उनकी कोशिशें परवान नहीं चढ़ सकी थी, क्योंकि उस वक्त केंद्र में कांग्रेस की सरकार थी। इसके बाद विश्व हिन्दू परिषद ने साल 2015 में अलीगढ़ में प्रस्ताव पास कर कहा था कि अलीगढ़ का प्राचीन नाम हरिगढ़ ही है। इसे बाद में अलीगढ़ कर दिया गया था, इसलिए इसे अलीगढ़ को हरिगढ़ किया जाना चाहिए। यही नहीं, संघ भी अपने कार्यक्रमों को हरिगढ़ के हिसाब से बनता है। योगी सरकार सूबे के कई शहरों के नाम बदल चुकी है, जिसमें इलाहाबाद को प्रयागराज और फैजाबाद को अयोध्या करना शामिल है।

वहीं अब योगी सरकार ने देवबंद में कमांडो सेंटर बनाए जाने का फैसला लिया है। कई बार देवबंद में आतंकी कनेक्शन सामने आ चुका है। इसके बाद सरकार अलर्ट मोड पर है। किसी भी तरह की लापरवाही न हो इसके लिए एटीएस कमांडो तैनात किए जा रहे है।

इसके लिए पूरे राज्य भर से करीब ड़ेढ़ दर्जन तेज तर्रार एटीएस अफसरों का चयन किया गया है, जिन्हें देवबंद में तैनात किया जाएगा। अफगानिस्तान के हालात देखकर तालिबानी समर्थकों पर लगाम कसने के लिए योगी सरकार अभी से अलर्ट हो गई है। यही वह है कि यहां पर एटीएस कमांडो सेंटर बनाने के फैसला लिया गया है। 15 से ज्यादा अफसरों को कमांडो सेंटर में तैनात किया जाएगा। यहां पर बड़ी संख्या में एटीएस कमांडो को ट्रेनिंग दी जाएगी।

सीएम योगी के मीडिया सलाहकार शलभ मणि त्रिपाठी ने सोशल मीडिया के जरिए ये जानकारी साझा की है। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि ‘तालीबान की बर्बरता के बीच यूपी की खबर भी सुनिए योगी जी ने तत्काल प्रभाव से देवबंद में एटीएस कमांडो सेंटर खोलने का निर्णय लिया है। युद्धस्तर पर काम शुरू भी हो गया है। प्रदेशभर से चुने हुए करीब डेढ़ दर्जन तेज तर्रार एटीएस अफसरों की यहां तैनाती होगी’।

पिछले दिनो लखनऊ में आतंकियों की गिरफ्तारी और बंगलादेशियों रोहिंग्याओं की घुसपैठ और धर्मांतरण गिरोह के पर्दाफाश के बाद एटीएस के विस्तार की बात कही गई थी। इससे पहले लखनऊ और नोएडा में कमांडो सेंटर खोले जाने की तैयारियां चल रही हैं। नोएडा में इंटरनेशनल एयरपोर्ट और लखनऊ में अमौसी के पास कमांडो सेंटर खोले जा रहे हैं। ट्रेनिंग सेंटर में आतंकी हमलों से बचाव के लिए हर तरह के गुर कमांडो को सिखाए जाएंगे। देवबंद में पहले भी आतंकी कनेक्शन सामने आ चुका है। यही वजह है कि कमांडो सेंटर खोलने के लिए इस जगह को चुना गया है।

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