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अवैध क्लीनिक पर तहसीलदार सलोन का छापा, बोर्ड उखाड़कर भागा क्लीनिक संचालक

सीएचसी प्रभारी के रहमो-करम से परचून की दुकान की तरह चल रही अवैध क्लीनिक

अनुभव शुक्ला

रायबरेली,नवसत्ता: अवैध क्लीनिक के संचालन की शिकायत पर जैसे ही तहसीलदार सलोन अजय कुमार गुप्ता मौके पर पहुंचे वैसे ही हड़कंप मच गया और अवैध क्लीनिक संचालक बोर्ड उखाड़कर मौके से फरार हो गया। जिस तरह से तेजतर्रार तहसीलदार अजय कुमार सक्रियता दिखा कर अवैध कार्यों के खिलाफ छापेमारी करते हैं, यदि उसी प्रक्रिया में अन्य जिम्मेदार भी अपनी जिम्मेदारी का निर्वहन करने लगे तो शायद सहायता से क्षेत्र में धड़ल्ले से चल रही आवाज कि उनको पर लगाम लग सके। तहसील क्षेत्र में परचून की दुकान की तरह चल रहे अवैध मेडिकल स्टोर व क्लीनिक ग्रामीण क्षेत्र में ऐसे कई झोलाछाप डॉक्टर क्लिनिक खोलकर बैठे हैं। ये गंभीर बीमारियों का इलाज करने का दावा भी करते हैं।

ऐसे तथाकथित डॉक्टरों के विरूद्ध कार्रवाई करना तो दूर की बात, बल्कि जांच तक नहीं की जाती। चिकित्सा विभाग के अफसरों को इस बारे में सूचना भी है। जब कहीं निरीक्षण या चेकिंग की जाती है तो मकसद दूसरा होता है। जानकारी के मुताबिक क्षेत्र के धरई चौराहा पर जीवन ज्योति क्लिनिक चल रहा है, जहां सुबह होते ही सैकड़ों मरीजों की भीड़ लग जाती है। गरीब तबके के लोगो की जिंदगी से खिलवाड़ हो रहा है। क्लीनिक संचालक मुकेश पाल से बात की गई तो बताया कि मेरे पास डिग्री है इसकी शिकायत लोगो ने तहसीलदार से की थी। तहसीलदार सलोन जब मौके पर पहुंचे तो क्लीनिक संचालक मौके से बोर्ड उखाड़ कर क्लिनिक बंद करके भाग गया। सलोन तहसीलदार अजय कुमार गुप्ता ने प्रभारी चिकित्सा अधिकारी पी के बैसवार को उचित कार्यवाही के निर्देश दिए। लेकिन स्थानीय चिकित्सा अधिकारी कार्यवाही के नाम पर पल्ला झाड़ लिए। दूसरे ही दिन मेडिकल स्टोर व क्लिनिक धड़ल्ले से फिर चल रहा है। आज जब प्रभारी चिकित्सा अधिकारी से बात की गई तो बताया कि हम बाहर है आपको बता दें कि ये वही सौरभ मेडिकल स्टोर की आड़ में जनरिक दवा का डिपो चला रहा संचालक है जो की इसके पहले कई बार अवैध जहरीली शराब के व्यवसाय में जेल जा चुका है।

सीएचसी प्रभारी रुपेश का गैर जिम्मेदाराना बयान, कहा- मिलेगी शिकायत तभी करेंगे कार्रवाई
वहीं जब इस बाबत सलोन सीएचसी प्रभारी चिकित्सा अधिकारी रूपेश जायसवाल से बात की गई तो उन्होंने गैरजिम्मेदाराना बयान देते हुए बताया कि जब तक अवैध क्लीनिकों के खिलाफ कोई शिकायत नही मिलती हम कोई कार्यवाही नही कर सकते।

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